PehlaPanna पर आप प्रत्येक दिन सरदार कुलवंत सिंह जी के माध्यम से गुरबाणी पढ़ रहे हैं। आज जानिये, गुरु नानक देव जी जब भाई मरदाना के साथ हसन अब्दाल शहर पहुंचे। पहाड़ी पर वली कंधारी ने पानी पिलाने से इन्कार कर दिया। तब गुरु जी ने एक पत्थर हटाकर पानी का चश्मा निकाल दिया। अपने ऊपर आते पत्थर को रोका तो इतिहास बन गया।

Gurbani 23वीं किस्त : PehlaPanna पर रोज पढ़ें गुरबाणी; कैसे बना गुरुद्वारा पंजा साहिब, जब गुरु नानक जी ने वली कंधारी का घमंड तोड़ा